भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु को पीएम ने दी श्रद्धांजलि; परिवार वालों ने कहा, शहीद का दर्जा मिले

नई दिल्ली: देश की आजादी में अहम योगदान देने वाले सरदार भगत सिंह, सुखदेव और राजगुरु को 1931 में आज ही के दिन अंग्रेजों ने फांसी पर लटका दिया गया था. इन्होंने भी हंसते-हंसतेे मौत को गले लगाया, लेकिन इनके परिवार वालों को इस बात का अफसोस है कि केंद्र सरकार ने उन्हेंं अब तक शहीद का दर्जा नहीं दिया है. लुधियाना में सुखदेव थापर के परिवार वालों ने मातृभूमि पर अपना सब कुछ न्यौछावर कर देने वाली इन तीनों महान विभूतियों को शहीद का दर्जा देने की मांग की है. सुखदेव के परिवार वालों का कहना है, ‘इन्होंने अपनी जीवन अपने देश के लिए कुर्बान कर दिया, लेकिन आज़ादी के 70 साल बाद भी इन्हें शहीद का दर्जा नहीं दिया गया है.’

सुखदेव थापर के परिजन अशोक थापर ने कहा ‘हम इस मांग को लेकर 23 मार्च (जिस दिन भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव शहीद हुए थे) को दिल्ली जाएंगे और वहां अनिश्चितकालीन भूख हड़ताल पर बैठेंगे. जब तक इन तीनों को शहीद का दर्जा नहीं मिलेगा हम भूख हड़ताल से नहीं हटेंगे. इस दौरान हमारे साथ भगत के परिवार के लोग भी शामिल होंगे.’

पीएम मोदी ने दी श्रद्धांजलि
वहीं दूसरी ओर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शहीद दिवस के मौके भगत सिंह, राजगुरू और सुखदेव को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि हर भारतीय को इस बात पर गर्व है कि ‘आप’ हमारी भूमि से हैं. आगे उन्होने कहा,  युवावस्था की चरम सीमा पर उनलोगों (भगत सिंह, राजगुरू और सुखदेव) ने अपनी जिंदगी को सिर्फ इसलिए कुर्बान कर दिया कि दूसरे अपनी जिंदगी को आजादी और सम्मान के साथ जी सकें.


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