पूर्व राजदूत ने Imran Khan को दिखाया आईना, कहा, ‘1971 के नरसंहार के लिए बांग्लादेश से माफी मांगे Pakistan’

वॉशिंगटन: पाकिस्तान (Pakistan) को उसके अपने ही राजदूत ने आईना दिखा दिया है. 2008 से 2011 तक अमेरिका में पाकिस्तान के राजदूत रहे हुसैन हक्कानी (Husain Haqqani) का कहना है कि पाकिस्तानी फौज को 1971 में बांग्लादेश (Bangladesh) में किए गए नरसंहार के लिए वहां के लोगों से औपचारिक रूप से माफी मांगनी चाहिए. बता दें कि भारत-पाकिस्तान बंटवारे के बाद 1947 में पूर्वी पाकिस्तान कहलाने वाला बांग्लादेश 1971 में आजाद होकर अलग देश बना था. आधिकारिक रूप से बांग्लादेश का मुक्ति संग्राम नौ महीने चला था, इसमें करीब 30 लाख लोग मारे गए थे और हजारों महिलाओं के साथ दुष्कर्म हुआ था.

‘माफी मांगना सबसे जरूरी’
‘बंगबंधु शेख मुजीबुर्रहमान: मुक्ति संग्राम के आदर्श नेता’ विषय पर वर्चुअल चर्चा में बोलते हुए हक्कानी ने कहा कि शेख मुजीबुर्रहमान (Sheikh Mujibur Rahman) को जेल में डालने और बांग्लादेशियों की हत्या जैसी सैन्य कार्रवाई हुई, लेकिन आज तक इसके लिए कोई माफी नहीं मांगी गई. जबकि माफी मांगना सबसे जरूरी है. उन्होंने आगे कहा कि पाकिस्तान के लोगों को अपनी सरकार से कहना चाहिए कि वह 1971 में पाकिस्तानी सेना की ओर से किए गए सभी अत्याचारों के लिए बांग्लादेश की जनता से माफी मांगे. कार्यक्रम का आयोजन बेल्जियम और लक्जमबर्ग में बांग्लादेश के दूतावास और ब्रसेल्स में यूरोपीय संघ के मिशन ने किया था.

Bengalis को कभी बराबर नहीं माना
हक्कानी ने कहा, ‘तत्कालीन पूर्वी पाकिस्तान (वर्तमान बांग्लादेश) पाकिस्तान की सत्ता पर काबिज लोगों के लिए सोने का अंडा देने वाली मुर्गी की तरह था. ज्यादातर विदेश मुद्रा वहीं से आती थी. पाकिस्तान के सामंती शासकों ने बंगालियों को कभी अपने बराबर नहीं माना. वे 1970 के आम चुनावों में बंगबंधु की पार्टी आवामी लीग की जीत के बावजूद पूर्वी पाकिस्तान की सत्ता निर्वाचित जनप्रतिनिधियों को सौंपने को तैयार नहीं थे. बंगबंधु भी महात्मा गांधी (Mahatma Gandhi) और नेल्सन मंडेला (Nelson Mandela) जैसे महान नेताओं की श्रेणी में आते हैं’.

Abdul Momen ने कही ये बात
पाकिस्तान के पूर्व राजदूत ने कहा कि 1971 के नरसंहार के लिए अब पाकिस्तान को माफी मांगनी चाहिए. गौरतलब है कि बांग्लादेश भी कई बार कह चुका है कि पाकिस्तान को माफी मांगनी चाहिए, लेकिन पाकिस्तान इस मुद्दे पर चुप्पी साधे बैठा हुआ है. बांग्लादेश के विदेश मंत्री एके अब्दुल मोमन (A K Abdul Momen) चर्चा में बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए. उन्होंने कहा, ‘हमें उम्मीद थी कि बांग्लादेश की स्वतंत्रता की 50वीं वर्षगांठ के अवसर पर पाकिस्तान औपचारिक रूप से माफी मांगेगा, मगर ऐसा नहीं हुआ. पाक के प्रधानमंत्री इमरान खान ने अंतिम समय में एक संदेश जरूर भेजा, लेकिन नरसंहार के लिए माफी नहीं मांगी’.


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