राज्य के भीतर ई-वे बिल अप्रैल मध्य तक – चरणबद्ध तरीके से लागू होगा बिल

वाणिज्य प्रतिनिधि.भोपाल
जीएसटी काउंसिल की बैठक में रिटर्न की मौजूदा प्रक्रिया को तीन महीने और जारी रखने का निर्णय लिया है। सिंगल रिटर्न की मांग कर रहे कारोबारी और सलाहकारों को अभी और इंतजार करना होगा। कर विशेषज्ञ व सलाहकारों के मुताबिक रिटर्न पर अभी इंतजार है,लेकिन यह तय हो गया है कि 1 अप्रैल से देशभर में ई-वे बिल लागू होगा। राज्य के भीतर चरणबद्ध तरीके से ई-वे बिल लागू होना है। कर सलाहकार आरएस गोयल के मुताबिक इस आधार पर मध्यप्रदेश के भीतर यानी इंट्रास्टेट ई-वे बिल अप्रैल के दूसरे सप्ताह तक लागू होने की उम्मीद की जा रही है।
टीपीए के सचिव सीए जेपी सर्राफ के मुताबिक ई-वे बिल के पुराने नियमों में बदलाव से कारोबारियों को खासी राहत मिलती दिख रही है। ई-वे बिल की अनिवार्यता के लिए दूरी का पैमाना 10 किमी की बजाय 50 किमी से अधिक कर दिया गया है। बिल की वैधता की अवधि भी 24 घंटे की बजाय रात 12 बजे के हिसाब से तय की गई है। रिवर्स चार्ज मैकेनिज्म पर भी रोक तीन महीने तक बरकार रहेगी।
– पार्ट-ए तो भरना होगा
कर सलाहकार आरएस गोयल के मुताबिक पहले ई-वे बिल 10 किमी से ज्यादा दूरी तक माल परिवहन के लिए जरूरी था। अब इसे बढ़ाकर 50 किमी किया गया है। इस छूट से सिर्फ ई-वे बिल के दूसरे पार्ट को जेनरेट करने की छूट मिलेगी। यानी इंदौर से देवास या पीथमपुर तक माल भेजना है तो ई-वे बिल का पार्ट-ए तो जेनरेट करना होगा। उसमें जानकारी भरना होगी,लेकिन पार्ट-बी जिसमें गाड़ी आदि की जानकारी देना होती थी उसे भरने से छूट मिल गई है।


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